MP News: एमपी में दो नए विश्वविद्यालय की शुरुआत होने से इन विश्वविद्यालय के क्षेत्राधिकार में कटौती

MP News: गुना और खरगोन में दो नए विश्वविद्यालयों की शुरुआत होने से देवी अहिल्या विश्वविद्यालय इंदौर और जीवाजी विश्वविद्यालय ग्वालियर के क्षेत्राधिकार में कटौती की गई है। इनके नए परिसीमन को राजभवन ने हरी झंडी दे दी है। देवी अहिल्या विवि इंदौर के क्षेत्राधिकार में अब मात्र तीन जिलों के कॉलेज ही रहेंगे। जीवाजी के क्षेत्राधिकार वाले जिलों की संख्या भी घटकर पांच हो गई है। इंदौर के क्षेत्राधिकार में इंदौर संभाग के सभी आठ जिले थे। इनमें 7 आदिवासी बाहुल्य जिंले हैं। यह इस क्षेत्र की शैक्षणिक जरूरतें पूरी करते थे।

2 नए विश्वविद्यालय के बाद घटाया क्षेत्राधिकार

इंदौर का क्षेत्राधिकार अधिक बड़ा होने के कारण दूर-दराज के जिलों के विद्यार्थियों को कठिनाई होती थी। इसलिए आदिवासी क्षेत्र के लिए विश्वविद्यालय की मांग पर सरकार ने क्रांति सूर्य टंट्या भील विश्वविद्यालय की स्थापना की। इसका मुख्यालय खरगोन जिले में है। वहीं जीवाजी विवि ग्वालियर के अंतर्गत संभाग के आठ जिलों के कॉलेज थे। गुना क्षेत्र में क्रांतिवीर तात्या टोपे विश्वविद्यालय की स्थापना कर ग्वालियर विश्वविद्यालय के क्षेत्राधिकार में कटौती की गई है.

विश्वविद्यालयों का नया दायरा

  • देवी अहिल्या विश्वविद्यालय इंदौर: इंदौर, धार, झाबुआ
  • क्रांतिसूर्य टंट्या भील विश्वविद्यालय खरगोनः खरगोन, खंडवा, बुरहानपुर, बड़वानी, आलीराजपुर
  • जीवाजी विश्वविद्यालय ग्वालियरः ग्वालियर, दतिया, श्योपुर, मुरैना, भिंड
  • क्रांतिवीर तात्या टोपे विश्वविद्यालय गुनाः गुना, अशोकनगर, शिवपुरी
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